November 28, 2017 Blog

क्यों की जाती है कुल देवी देवता की पूजा और पूजा के दौरान ध्यान रखे यह सब बातें!

BY : Dr. Sandeep Ahuja – Ayurvedic Practitioner & Wellness Writer

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लेखिका: शिक्षा सिंह 

हिन्दू धर्म में शुरू से ही हर परिवार में कुल देवी/ देवता का स्थान रखा गया है और उनकी नियमित पूजा की जाती हैं| हर हिन्दू परिवार का कोई न कोई ऋषि वंशज माना जाता हैं जिसके मध्यान से उसके गोत्र का अनुमान लगाया जाता हैं। विभान भाग होने के बाद हिन्दू धरम को वर्णो में बाटा गया जिससे जाति का नाम दिया गया और प्रत्येक जाति किसी ऋषि की संतान मानी जाती है और उस ऋषि पति पत्नी को उस जाति के कुल देवी देवता के रूप में पूजा जाता हैं।


कुल देवी देवता की पूजा काफी पुराने समय  से चली आ रही हैं और माना जाता है की कुल देवी देवता कुलो की रक्षा करते हैं। वह परिवार को बाधाओं से बचते है और परिवार में नकारात्मक शक्तियों को आने से रोकते हैं।
 

परन्तु आज कल कई परिवार अपने कुल देवी देवता के बारे में भूल गए है और उनकी नियमित रूप से पूजा नहीं करते हैं। शहर में रहने वाले लोग ऐसा ज्यादातर करते नजर आ रहे हैं। कुल देवी देवता की पूजा करना छोड़ने से अभी तो कुछ नहीं होता दिखाई देगा लेकिन कई सालो के बाद उनका सुरक्षा चक्र टूट जाता है और उसके बाद परिवार में दुर्घटनाए , बाधाये  शुरू हो जाती हैं। उस परिवार की उन्नति रुक जाती है और घर में अशांति रहने लग जाती हैं।  उस समय पर इंसान समझ नहीं पाता  है की आखिर यह सब क्यों हो रहा हैं ? ज्योतिष विज्ञान  से भी उसका समाधान निकल नहीं पाता है क्यूंकि इंसान का भाग्य कुछ कहता है और उसके साथ जो परिस्थितया कुछ और ही हो रही होती हैं।

इसलिए माना जाता है की कुल देवी देवता की पूजा करना बहुत अनिवार्य है क्यूंकि कुल देवी देवता ही परिवार को सुरक्षति रखे हुए होते हैं।  हर तरह की नकारात्मक ऊर्जा से परिवार को बचाकर रखते है।  कोई भी परेशानी यदि घर परिवार पर आ रही हो तो  उससे पहले कुल देवी देवता से लड़ना होता है।

परिवार में संस्कारो  और नैतिक आचरण को भी समय समय पर ध्यान में रखना चाहिए । इसलिए अगर इनकी पूजा न की जाए तो यह रुष्ट हो जाते हैं।  यदि परिवार में कोई भी पूजा की जाती है तो उस पूजा में अर्पित सामान इष्ट तक यही पहुंचाने का काम करते हैं। और अगर कुल देवी देवता ही नाराज हो जाए तो इष्ट तक कुछ सामान नहीं पहुंच पाता है और पूजा का कोई फल प्राप्त नहीं होता हैं।

इसलिए प्रत्येक परिवार को अपने कुल देवी देवता के बारे में जान न चाहिए और विधि पूर्वक समय समय पर उनकी पूजा करती रेहनी चाहिए | 

Author: Dr. Sandeep Ahuja – Ayurvedic Practitioner & Wellness Writer

Dr. Sandeep Ahuja, an Ayurvedic doctor with 14 years’ experience, blends holistic health, astrology, and Ayurveda, sharing wellness practices that restore mind-body balance and spiritual harmony.