June 3, 2024 Blog

Pradosh Vrat 2024: प्रदोष व्रत पर इस सरल विधि से करें महादेव की पूजा, सभी मुरादें होंगी पूरी

BY : STARZSPEAK

प्रदोष व्रत भगवान शिव को समर्पित है। धार्मिक मान्यता के अनुसार, प्रदोष व्रत के दिन भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा करने से स्वस्थ जीवन का वरदान मिलता है और व्यक्ति को भोलेनाथ का आशीर्वाद प्राप्त होता है। जो व्यक्ति इस दिन भगवान शिव की पूजा (Pradosh Vrat) करता है। उसकी भक्ति से प्रसन्न होकर भगवान उसकी मनोकामना पूरी करते हैं और सभी प्रकार के दुख दूर कर देते हैं।

Pradosh Vrat 2024 Shubh Muhurat and Puja Vidhi: त्रयोदशी तिथि देवों के देव महादेव को समर्पित है। हर माह के कृष्ण और शुक्ल पक्ष की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत रखा जाता है। ज्येष्ठ माह का पहला प्रदोष व्रत 04 जून को रखा जाएगा। इस दिन मंगलवार होने से इसे भौम प्रदोष व्रत कहा जाएगा। 

यह भी पढ़ें - Nagri Ho Ayodhya Si, Raghukul Sa Gharana Ho: नगरी हो अयोध्या सी, रघुकुल सा घराना हो

pradosh vrat

धार्मिक मान्यता के अनुसार, त्रयोदशी के दिन शाम के समय भगवान शिव की पूजा करने से स्वस्थ जीवन का आशीर्वाद मिलता है और व्यक्ति को भोलेनाथ का आशीर्वाद प्राप्त होता है। जो व्यक्ति इस दिन सच्चे मन से भगवान शिव की पूजा करता है। उसकी भक्ति से प्रसन्न होकर भगवान उसकी मनोकामना पूरी करते हैं और सभी प्रकार के दुख दूर कर देते हैं। ऐसे में आइए जानते हैं कि प्रदोष व्रत (Pradosh Vrat) पर भगवान शिव की पूजा कैसे करनी चाहिए।

प्रदोष व्रत 2024 डेट और शुभ मुहूर्त (Pradosh Vrat 2024 Date and Shubh Muhurat)

पंचांग के अनुसार ज्येष्ठ माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि 04 जून को दोपहर 12:18 बजे शुरू होगी और अगले दिन यानी 4 जून को रात 10:01 बजे समाप्त होगी. ऐसे में प्रदोष व्रत 4 जून को रखा जाएगा.

प्रदोष व्रत पूजा विधि (Pradosh Vrat Puja Vidhi)
  • प्रदोष व्रत के दिन सुबह जल्दी उठें और इसके बाद स्नान करें।
  • साफ वस्त्र धारण कर सूर्य देव को जल अर्पित करें।
  • भगवान शिव और मां पार्वती की मूर्ति को चौकी पर विराजमान करें।
  • शिवलिंग का शहद, घी और गंगाजल से अभिषेक करें।
  • अब प्रभु को कनेर के फूल, बेलपत्र और भांग अर्पित करें और मां पार्वती को श्रृंगार की चीजें चढ़ाएं।
  • दीपक जलाकर महादेव की आरती करें और शिव चालीसा का पाठ करें।
  • शिव जी के मंत्रों का जाप करना भी कल्याणकारी होता है।
  • अंत में फल और मिठाई समेत आदि चीजों का भोग लगाएं।
  • श्रद्धा अनुसार गरीब लोगों में अन्न, धन और वस्त्र का दान करें।
यह भी पढ़ें - Shri Kali Chalisa: शुक्रवार को पूजा के समय करें इस चमत्कारी चालीसा का पाठ, बन जाएंगे सारे बिगड़े काम